अबोहर में विवाह या फिर घर में बेटा पैदा होने की खुशी में किन्नरों द्वारा मांगी जा रही मुंहमांगी रकम के खिलाफ अब ग्राम पंचायतों में प्रस्ताव पारित होने शुरू हो गए हैं। इसी के चलते ग्राम पंचायत ढाणी विशेषरनाथ ने सर्वसम्मति से एक प्रस्ताव पारित करते हुए किन्नरों को दी जाने वाली बधाई राशि 1100 रुपए और एक सूट निर्धारित कर दिया है। इसके साथ ही इससे अधिक पैसे मांगने और लोगों के साथ धक्केशाही करने वाले किन्नरों के खिलाफ कार्रवाई की जा सकती है। इस बारे में गांव की सरपंच अनीता रानी की अध्यक्षता में सभी पंचायत सदस्यों की एक बैठक हुई। जिसमें सभी ने अपने-अपने विचार रखते हुए कहा कि घर में बेटा पैदा होने और बेटे की शादी के बाद किन्नर समाज के लोग उस घर में आकर मुंहमांगी रकम मांगते हैं। इतना ही नहीं मुंहमांगे पैसे न देने पर किन्नर श्राप देने की धमकियां देते हैं। घर में महिलाओं के सामने निर्वस्त्र होने का डर दिखाते हैं। जिससे परिवार की महिलाओं और बच्चों में भय पाया जाता है। वहीं कई लोग डर की बजह से उधार पैसे लेकर इनसे अपना पीछा छुड़वाते हैं। इस समस्या को देखते हुए बैठक में सर्वसम्मति से फैसला लिया गया कि अब किन्नर समाज पंचायत द्वारा निर्धारित की गई रकम 1100 रुपए और एक सूट ही मांगेंगे। प्रस्ताव में यह भी कहा गया है कि अगर कोई परिवार अपनी इच्छा के अनुसार पंचायत द्वारा तय की गई राशि से अधिक पैसे किन्नरों को देना चाहता है तो उस पर कोई पाबंदी नहीं होगी। पंचायत करा सकती है कार्रवाई बैठक के बाद पूरी पंचायत ने सभी किन्नर समाज को अवगत करवाते हुए कहा कि गांव में बधाई लेने आते समय पंचायत के फैसले का ध्यान रखें। इतना ही नहीं अगर किसी किन्नर ने किसी भी परिवार के साथ धक्केशाही की तो पंचायत द्वारा उसके खिलाफ कार्रवाई करवा सकती है। पंचायत के इस प्रस्ताव की लोग जमकर सराहना कर रहे हैं। वहीं कई अन्य ग्राम पंचायतें भी इस प्रकार का प्रस्ताव पारित करने की तैयारी कर रही है। बैठक में सरपंच अनीता रानी रानी के अलावा पंचों में विजय कुमार, सोमारानी, गुरप्रीत कौर, पालो देवी, पिंकी रानी, अमरचंद, मंदीप कुमार, प्रेम कुमार और सुधीर कुमार आदि विशेष रूप से उपस्थित थे। स्वेच्छा से दी गई बधाई स्वीकार करे किन्नर समाज-डा. रिसी नारंग
इसके अलावा अरोड़वंश सभा के वाइस चेयरमैन डा. रिसी नारंग ने गांव चूहड़ीवाला धन्ना की पंचायत के इस फैसले का स्वागत करते हुए कहा है कि अब किन्नर समाज को अपने तौर तरीके बदलने चाहिए। जिसके तहत वे जिस घर में जांए वहां के लोग खुशी से उनका स्वागत करें न कि लोगों में भय का माहौल हो। उन्होंने कहा कि किन्नर समाज को लोगों द्वारा स्वेच्छा से दी गई बधाई ही स्वीकार करनी चाहिए। अन्यथा उन्हें कार्रवाई का सामना करना पड़ सकता है। उन्होंने लोगों से भी अपील करते हुए कहा कि किसी भी खुशी के अवसर पर अगर किन्नर समाज घर में आएं तो उन्हें खुशी से बधाई दें।