आतंकी हमलों के खिलाफ पुलिस थाने हुए चौकस:छतों-दीवारों पर बिछाए जाल, नाइट पेट्रोलिंग बढ़ी; रात गेट बंद रखने के आदेश

पंजाब में हाल ही में पुलिस थानों और चौकियों पर हुए बम और ग्रेनेड हमलों के मद्देनजर राज्य में सुरक्षा व्यवस्था को मजबूत किया गया है। पुलिस थानों पर संभावित हमलों से बचाव के लिए विशेष जाल और सुरक्षा तंत्र लगाए जा रहे हैं। ताकि किसी भी अप्रिय घटना को होने से रोका जा सके। इस पहल का उद्देश्य थानों को और अधिक सुरक्षित बनाना और कानून-व्यवस्था को मजबूत करना है। बीते दिनों हुए हमलों में सबसे अधिक टारगेट अमृतसर और गुरदासपुर के थाने रहे हैं। ऐसे में अमृतसर के थानों पर जाल बिछाए गए हैं। थानों की छतों पर जाल लगाए गए हैं, ताकि बम नीचे ना गिरे और हवा में फट नुकसान कम करे। जिन थानों की दीवारें छोटी हैं, उनकी दीवारों पर जाल लगाकर उन्हें और ऊंचा किया गया है, ताकि बम अंदर ना गिराया जा सके। बीती रात पुलिस कमिश्नर गुरप्रीत सिंह भुल्लर खुद पेट्रोलिंग पर निकले और उन्होंने नाकों और थानों का जायजा लिया। उन्होंने पीसीआर को सख्त निर्देश दिए हैं और रात की पेट्रोलिंग को गंभीरता से करने को कहा है। पेट्रोलिंग के लिए खास हिदायतें दी गई हैं, ताकि किसी भी हमले की स्थिति में संदिग्धों व आरोपियों पर तुरंत एक्शन लिया जा सके। सुरक्षा के लिए उठाए गए कदम संदिग्ध गतिविधियों की जानकारी सांझा करने के आदेश पंजाब पुलिस ने इन हमलों के मद्देनजर हाई अलर्ट घोषित किया है और सभी थानों को सुरक्षा निर्देश दिए गए हैं। साथ ही, स्थानीय समुदायों से भी अपील की गई है कि वे किसी भी संदिग्ध गतिविधि की तुरंत जानकारी पुलिस को दें। सुरक्षा तंत्र को मजबूत करने के साथ, यह कदम न केवल अपराधियों को हतोत्साहित करेगा, बल्कि राज्य में शांति और सुरक्षा सुनिश्चित करने में भी मदद करेगा। 28 दिन में हुए 8 हमले बीते 28 दिनों में पंजाब में 8 हमले हो चुके हैं। इनमें से विदेश में बैठे आतंकी 7 धमाके करवाने में सफल रहे, जबकि एक बम अजनाला थाने से बिना फटे रिकवर किया गया। 24 नवंबर- अजनाला थाने के बाहर RDX लगाया गया था। हालांकि, यह फटा नहीं। इसकी जिम्मेदारी हैप्पी पासियां ने ली थी, जबकि इस मामले में पुलिस 2 आरोपियों को पकड़ चुकी है। उनसे हैंड ग्रेनेड भी बरामद किए गए थे। 27 नवंबर- गुरबख्श नगर में बंद पुलिस चौकी में ग्रेनेड विस्फोट हुआ था। यह हमला भी बंद चौकी में हुआ था। 2 दिसंबर- एसबीएस नगर के काठगढ़ थाने में ग्रेनेड विस्फोट हुआ था। इस मामले में भी पुलिस ने 3 आतंकियों को गिरफ्तार किया था और उनसे हथियार बरामद किए गए थे। 4 दिसंबर- मजीठा थाने में ग्रेनेड विस्फोट हुआ तो पुलिस ने हमला मानने से ही इनकार कर दिया। पुलिस का कहना था कि उनके एक कर्मी की बाइक का टायर फटा है। हालांकि, इलाके के पूर्व विधायक बिक्रम मजीठिया ने थाने की तस्वीरों के साथ इसे आतंकी घटना बताया था। 13 दिसंबर- अलीवाल बटाला थाने में ग्रेनेड विस्फोट हुआ था। इस घटना की जिम्मेदारी भी हैप्पी पासियां और उसके साथी ने ली थी। इस घटना को भी रात के समय ही अंजाम दिया गया। 17 दिसंबर- इस्लामाबाद थाने में ग्रेनेड विस्फोट किया गया। सुबह जब खबर फैली तो पुलिस कमिश्नर और लोकल पुलिस ने इसे ब्लास्ट नहीं बताया, लेकिन दोपहर DGP पंजाब खुद अमृतसर पहुंचे और उन्होंने माना कि यह एक आतंकी घटना थी और बम फोड़ा गया था। 19 दिसंबर- पंजाब के भारत-पाकिस्तान बॉर्डर से सटे गुरदासपुर जिले की बंद पड़ी पुलिस चौकी बख्शीवाला पर आतंकी हमला हुआ। पुलिस द्वारा किसी मामले में जब्त किए गए ऑटो पर आतंकियों ने ग्रेनेड फेंका। 20 दिसंबर- गुरदासपुर के अंतर्गत आते बंगा वडाला गांव के पुलिस थाने पर ग्रेनेड फेंका गया। गुरदासपुर के कलानौर क्षेत्र में 48 घंटों में ये दूसरा ग्रेनेड हमला था। NIA रख रही पंजाब में बम धमाकों पर नजर राष्ट्रीय सुरक्षा एजेंसी (NIA) ने पंजाब पुलिस के साथ बीते दिनों एक रिपोर्ट साझा की। जिसमें दावा किया गया कि पंजाब को आतंकी हमलों से दहलाने की साजिश रची जा रही है। इसमें पहला निशाना पंजाब पुलिस के थाने हैं। क्योंकि इससे पहले पंजाब के करीब 7 पुलिस थानों पर ग्रेनेड और आईईडी हमले हो चुके हैं। बम धमाकों के बाद एनआईए पंजाब पर नजर रख रही है। एक मीडिया रिपोर्ट में दावा किया गया है कि खालिस्तानी आतंकी 1984 में इस्तेमाल किए गए डेड ड्रॉप मॉडल की तर्ज पर हमले कर रहे हैं। 1984 की तरह अब फिर से पंजाब को दहलाने की कोशिश की जा रही है। इसे लेकर केंद्रीय सुरक्षा एजेंसियां ​​अलर्ट पर हैं।

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