कलेक्टर-कमिश्नर कॉन्फ्रेंस:मुख्यमंत्री ने अफसरों को बताया अपना विजन और सरकार की प्राथमिकताएं

कलेक्टर कमिश्नर कॉन्फ्रेंस में मुख्यमंत्री ने प्रदेश के धार्मिक स्थलों का अलग मास्टर प्लान तैयार करने का निर्देश दिया है। सीएम ने कहा कि ओंकारेश्वर और चित्रकूट में धार्मिक पर्यटन की जितनी संभावनाएं हैं, उनका अभी तक विकास नहीं हो सका है। इसलिए धार्मिक स्थलों का अलग मास्टर प्लान तैयार कर उन्हें भविष्य के पर्यटन के हिसाब से विकसित करें। नर्मदा परिक्रमा मार्ग का भी विकास जरूरी है। 2047 तक प्रदेश की सौ फीसदी आबादी के पास खुद का पक्का घर हो, इस विजन को लेकर शहरों का एक्शन प्लान बनाएं। गीता भवनों को आधुनिक टाउन हॉल के रूप में विकसित किया जाना है। हर शहर की जरूरत का आकलन करें और उनकी कमियों को दूर करने के लिए समय-सीमा तय करें। शहरी क्षेत्रों में टीडीआर के तहत अधिग्रहण भूमि पर मुआवजा दिया जा रहा है। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के संबोधन की 10 प्रमुख बातें किस क्षेत्र में कौनसे जिले का प्रदर्शन कैसा मातृ शिशु स्वास्थ्य एवं पोषण
बेहतर : बालाघाट, झाबुआ, मंदसौर, होशंगाबाद, शाजापुर
कमजोर: दमोह, अशोकनगर, सीधी, विदिशा, शिवपुरी गैर संचारी रोग पर नियंत्रण
बेहतर : मंदसौर, शाजापुर, छिंदवाड़ा, बैतूल, शहडोल
कमजोर : सागर, छतरपुर, शिवपुरी, सिंगरौली, सीधी जमीन का सीमांकन
बेहतर : मंडला, झाबुआ, बैतूल, सिवनी और सिंगरौली।
कमजोर : उमरिया, सीधी, अनूपपुर और मऊगंज। बंटवारा केस
बेहतर : झाबुआ, बालाघाट, सिंगरौली, मंडला और बैतूल।
कमजोर : भोपाल, अनूपपुर, पन्ना, सीधी और टीकमगढ़। नामांतरण
बेहतर : बैतूल, सिंगरौली, नीमच, हरदा और छिंदवाड़ा।
कमजोर : जबलपुर, अनूपपुर, रतलाम और पन्ना। टीबी उन्मूलन
बेहतर : जबलपुर, मंदसौर, सीहोर, धार, बड़वानी
कमजोर : टीकमगढ़, मुरैना, छतरपुर, अशोकनगर, कटनी {सिकल सेल
बेहतर : बालाघाट, बैतूल, झाबुआ, बड़वानी, धार
कमजोर : सीधी, आलीराजपुर, डिंडोरी, रतलाम, उमरिया गौशाला संचालन
बेहतर : छतरपुर, अशोक नगर, गुना, धार और आगरमालवा।
कमजोर : शिवपुरी, उज्जैन, दतिया, सीधी और सतना।

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