ऐशबाग पुलिस की मनमानी महिला वकील पर नहीं, बल्कि खुद पुलिस पर भारी पड़ गई। भोपाल कोर्ट ने वकील वीणा गौतम को गुंडा लिस्ट में डालने पर तत्कालीन थाना प्रभारी अजय नायर और एसआई गौरव पांडे पर 2 लाख रुपए हर्जाना लगाया है। वीणा, पूर्व विधायक खूबचंद गोलिया की बेटी हैं। मामला पहले एसडीएम कोर्ट पहुंचा था, जहां 3 दिसंबर 2021 को पुलिस के दस्तावेजों को “केस चलाए योग्य नहीं” मानते हुए कार्रवाई समाप्त की गई। इसके बाद वीणा ने कोर्ट में मानहानि का केस दायर किया। कोर्ट में वीणा ने बताया कि एसआई गौरव पांडे ने प्रतिपरीक्षण में स्वीकार किया कि उन्होंने ‘अपनी मर्जी से’ वकील का नाम गुंडा लिस्ट में डाला। इलाके में उनके खिलाफ किसी भी तरह की अशांति की शिकायत नहीं मिली थी। गुंडा लिस्ट में नाम आने के बाद लोग उनके पास केस लाना बंद कर चुके थे। कई मुवक्किलों ने यह कहते हुए केस वापस ले लिए कि ‘जो खुद गुंडी कहलाए, वह पैरवी क्या करेगी।’ कोर्ट ने पुलिस की कार्रवाई को मनमाना माना और दोनों अधिकारियों को हर्जाना देने का आदेश दिया। अजय नायर अभी इंदौर के अन्नपूर्णा थाने के टीआई हैं। वहीं गौरव पांडे रातीबड़ थाने में एसआई हैं। 23 साल से भोपाल कोर्ट में कर रही वकालत : महिला वकील वीणा गौतम वर्ष 2022 से भोपाल कोर्ट में वकालत कर रही हैं। वो स्टेट बार और भोपाल बार एसोसिएशन में रजिस्टर्ड हैं। उनके पिता खूबचंद गोलिया देवास से विधायक रह चुके हैं। वीणा के पति मप्र रोजगार गारंटी परिषद में कार्यालय सहायक के पद पर हैं। पड़ोसियों की शिकायत पर विवाद वीणा के अनुसार, 5 जनवरी 2020 को उन्होंने पड़ोसी सैय्यद सद्दाम अली पर एफआईआर कराई। इसके तीन दिन बाद 8 जनवरी को पड़ोसी परवीन की शिकायत पर उनके खिलाफ काउंटर एफआईआर दर्ज की गई और कुछ ही समय बाद उनका नाम गुंडा लिस्ट में डाल दिया गया।


