देश के पहले सेमी हाईस्पीड रेल मार्ग की तैयारियां अंतिम चरण में हैं। नई दिल्ली-हावड़ा रूट पर जल्द ही 160 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से ट्रेनें दौड़ेंगी। इस प्रोजेक्ट के तहत शुक्रवार को पंडित दीनदयाल उपाध्याय जंक्शन से धनबाद जंक्शन के बीच ट्रायल रन किया गया। स्पेशल ट्रेन डीडीयू जंक्शन से गया, कोडरमा और पारसनाथ होते हुए धनबाद पहुंची। वापसी में भी इसी रूट का इस्तेमाल किया गया। डीआरएम समेत कई अधिकारी मौजूद रहे पूर्व मध्य रेलवे हाजीपुर के महाप्रबंधक छतरलाल सिंह और धनबाद रेल मंडल के डीआरएम कमल किशोर सिन्हा समेत कई अधिकारी ट्रायल रन के दौरान मौजूद रहे। सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए थे। सभी रेलवे क्रॉसिंग बंद कर दिए गए थे। रेलवे ट्रैक के किनारे कंक्रीट की दीवारें लगाई गई थी। जहां दीवार नहीं बन सकती, वहां कटीले तारों से बैरिकेडिंग की गई थी। इससे ट्रैक पर किसी जानवर, इंसान या वाहन के पहुंचने की संभावना नहीं रहेगी। ओएचई ओवरहेड तार का 80 प्रतिशत काम पूरा हो चुका है। सिग्नल विभाग के कुछ काम बाकी हैं। सुरक्षित ट्रेन संचालन के लिए आटोमेटिक सिग्नलिंग और कवच सिस्टम पर भी काम चल रहा है। इस प्रोजेक्ट के पूरा होने के बाद दिल्ली-हावड़ा का सफर 17-20 घंटे के बजाय महज 13-15 घंटे में पूरा हो जाएगा। डीआरएम कमल किशोर सिन्हा ने बताया कि महाप्रबंधक के स्पीड ट्रायल से पहले प्री ट्रायल किया गया है और बचे हुए छोटे-मोटे कामों को पूरा किया जा रहा है। प्रधानखंता से मानपुर तक बंद किए गए 15 रेलवे फाटक सेमी हाई स्पीड ट्रेन चलाने के लिए ग्रैंड कार्ड सेक्शन पर प्रधानखंता से मानपुर के बीच मार्च तक 15 रेलवे फाटक बंद कर वहां अंडरपास का निर्माण कराया गया है। 10 अन्य रेल फाटकों पर कम चल रहा है। कुछ जगहों पर रोड ओवरब्रिज (आरओबी) भी बन रहे हैं। दुरंतो, राजधानी, वंदेभारत 130 की स्पीड से चल रही वर्तमान में इस खंड पर वीवीआइपी ट्रेन दुरंतो, राजधानी, वंदेभारत सहित मेल-एक्सप्रेस 130 किमी की गति से चल रही है। इसके लिए धनबाद से पहाडपुर तक सिग्नल सिस्टम को आधुनिक किया गया है। सारे पैनल को बदलकर रूट रिले इंटरलाकिंग सिस्टम से लैस किया गया है। रेलवे ट्रैक को दुरुस्त किया जा रहा है। आरपीएफ ने भी की लोगों से अपील इधर, कोडरमा आरपीएफ प्रभारी दीपक कुमार ने बताया कि वे पूर्व से ही लोगों से रेलवे ट्रैक से दूर रहने की अपील करते आ रहे हैं। अब चूंकि हाई स्पीड ट्रेन का परिचालन भी इस रूट से होना है, इसलिए यात्रियों सहित रेलवे ट्रैक के आसपास रहने वाले लोगों से विशेष आग्रह होगा कि वे रेलवे ट्रैक से दूरी बनाकर रखें। वैसे यात्री जो रेलगाड़ी में सफर करते हैं, वे पायदान पर न बैठें, सतर्कता बरतें।