पटरियों पर ब्लास्ट मटेरियल और गिट्टी का ढेर देखकर लोको पायलट महेंद्र राम देवड़ा ने समय रहते ट्रेन रोक दी, जिससे जैसलमेर सेक्शन में बड़ा हादसा टल गया। इसी उत्कृष्ट कार्य के लिए जोधपुर मंडल के डीआरएम अनुराग त्रिपाठी ने उन्हें प्रशस्ति-पत्र देकर सम्मानित किया। इसके साथ ही 3 अन्य रेल कर्मचारियों को भी उनके उत्कृष्ट कार्य के चलते सम्मानित किया गया। समारोह में अपर मंडल रेल प्रबंधक राकेश कुमार सहित बड़ी संख्या में शाखाधिकारी मौजूद रहे। DRM ने किया लोको पायलट को सम्मानित डीआरएम कार्यालय सभागार में आयोजित सम्मान समारोह में देवड़ा को सम्मानित करते हुए डीआरएम त्रिपाठी ने कहा कि तकनीक जितनी भी उन्नत क्यों न हो, मानव सतर्कता हमेशा रेल सुरक्षा की सबसे मजबूत कड़ी रहेगी। महेंद्र देवड़ा ने इसे सिद्ध किया है।” उन्होंने मंडल के सभी रेलकर्मियों से जिम्मेदारी और सजगता के साथ अपने दायित्व निभाने की अपील भी की। घटना 28 अक्टूबर की है। देवड़ा ट्रेन को लेकर जैसलमेर सेक्शन से गुजर रहे थे कि तभी उन्होंने पटरियों पर ब्लास्ट मटेरियल व गिट्टी का असामान्य ढेर देखा। क्षणभर की चूक भी गंभीर दुर्घटना का कारण बन सकती थी, लेकिन देवड़ा ने तुरंत लोको नियंत्रित कर ट्रेन को रोक दिया और उच्च अधिकारियों को सूचना दी। उनकी सूझबूझ और त्वरित निर्णय क्षमता ने सैकड़ों यात्रियों की जान जोखिम में पड़ने से बचा ली। रेलवे प्रशासन ने कहा कि ऐसे कर्मियों का सम्मान न केवल उन्हें प्रोत्साहित करता है, बल्कि पूरे मंडल में सुरक्षा संस्कृति को सुदृढ़ करता है। अन्य तीन कर्मियों को भी मिला सम्मान समारोह में बाकी तीन रेलकर्मियों को भी उनकी सजगता और जिम्मेदारीपूर्ण कार्यशैली के लिए सम्मानित किया गया। यूनिट-16 के मेट पंकज कुमार को ट्रैक सुरक्षा और नियमित देखभाल में उत्कृष्ट योगदान के लिए प्रशस्ति-पत्र दिया गया। पंकज ने समय-समय पर ट्रैक की गहन निगरानी कर सुरक्षा सुनिश्चित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। सालावास स्टेशन पर सिग्नलिंग सिस्टम की विश्वसनीयता बनाए रखने में उत्कृष्ट कार्य के लिए एसएसई (सिग्नल) आदित्य पंवार को सम्मानित किया गया। उनकी देखरेख में सिग्नलिंग उपकरणों का बेहतर रखरखाव सुनिश्चित हुआ, जिससे ट्रेन संचालन सुचारु बना रहा। इसके अलावा धनेरा के की-मेन शुभम कुमार सविता को ट्रैक में फ्रैक्चर दिखाई देने पर तत्काल अधिकारियों को सूचना देने और भीलड़ी–जेनाल सेक्शन में आ रही डाउन ट्रेन को लाल झंडी दिखाकर सुरक्षित रूप से रोकने के लिए प्रशस्ति-पत्र दिया गया। उनकी सतर्कता ने संभावित दुर्घटना को टालने में महत्वपूर्ण योगदान दिया।


