पाली की 583 फैक्ट्रियां पिछले करीब 24 दिन से बंद है। रोजाना 20 से 25 करोड़ रुपए का प्रोडक्शन प्रभावित हो रहा है। जिससे उद्यमी से लेकर फैक्ट्रियों में काम करने वाले मजदूर तक परेशान है। पहली बार ऐसा हुआ होगी कि प्रशासन ने फैक्ट्रियां बंद नहीं करवाई और उद्यमियों की आपसी खींचतान फैक्ट्रियां बंद होने का कारण बनी है। लेकिन उसके बाद भी कोई भी कुछ बोलने को तैयार नहीं है। यह खामोशी कई छोटे उद्यमियों का कॅरियर खराब कर रही है तो बेरोजगार मजदूर आंसू बहा रहा है। कई मजदूरों ने तो दूसरा काम देख लिया है ताकि परिवार पाल सके। 10 नवंबर से प्लांट 6, 25 नवंबर से प्लांट 4 बंद
बता दे कि ट्रीटमेंट प्लांट संचालित करने वाली कम्पनियों ने बकाया रुपयों का भुगतान नहीं होने के चलते प्लांट पर फैक्ट्रियों का अनट्रीट पानी लेना बंद कर दिया है। 10 नवंबर से प्लांट 6 बंद है और 25 नवंबर से प्लांट 4 बंद है। 11 करोड़ बकाया इसलिए पानी लेना किया बंद
ट्रीटमेंट प्लांट संख्या 6 का संचालन करने वाली स्वराष्ट्र कम्पनी के मैनेजर मुरुगेश थंगराज ने बताया कि उनके प्लांट पर मंडिया रोड और इंडस्ट्रीज फेज एक-दो का अनट्रीट पानी आता है। प्लांट की क्षमता 12 एमएलडी है और अनट्रीट पानी करीब 7 एमएलडी आता था। सीईटीपी में प्रोजेक्ट का 8 करोड़ रुपए और ऑपरेशन एंड मेन्टेनेंस का 3 करोड़ रुपए बकाया चल रहा है। इसके चलते प्लांट संचालित में परेशानी आ रही थी। इसलिए 10 नवंबर से फैक्ट्रियों का अनट्रीट पानी लेना बंद कर रखा है। ट्रीटमेंट प्लांट 4 संचालित करने वाली कम्पन त्रिवेणी के प्लांट मैनेजर प्रबल सिंह का कहना है कि सीईटीपी में प्रोजेक्ट के 31 करोड़ रुपए और प्लांट ऑपरेट एंड मेंटेनेंस के साढे 5 करोड़ रुपए बकाया चल रहे है।
100 करोड़ की लागत से बना था प्लांट 6
बता दे कि उद्यमियों ने सरकार के सहयोग से 100 करोड़ की लागत से पूनायता औद्योगिक क्षेत्र में ट्रीटमेंट प्लांट 6 का निर्माण करवाया था। और ट्रीटमेंट प्लांट 4 का निर्माण 54 करोड़ की लागत से निर्माण करवाया था। दोनों प्लांट की क्षमता 12-12 एमएलडी है।


