मैदान में उतरी ज्यादातर महिला उम्मीदवार सिर्फ औपचारिकता का चेहरा, कहीं पति कहीं ससुर चुनाव प्रचार का जिम्मा भी खुद संभाल रहे

नगर निगम चुनाव में कई रिजर्व सीटों पर महिलाएं सिर्फ चेहरा हैं उनके पीछे चुनाव तो उनके पति, पिता या ससुर पार्षद बनने का ख्वाब दे रहे हैं। नगर निगम और पार्षद चुनाव में भी यह मानसिकता देखी जा सकती है। जहां पर भी महिला रिजर्व वार्ड है वहां की उम्मीदवार के पोस्टरों पर पति, पिता, भाई या ससुर की फोटो देखने को मिल रही है। कई पोस्टरों पर तो महिला उम्मीदवार की फोटो उनके पति की फोटो से भी छोटी है, लेकिन जहां पर पुरुष कैंडिडेट वहां महिलाओं की कोई फोटो देखने तक को नहीं मिल रही। 85 वार्डों में 50% महिलाओं के लिए आरक्षित हैं बाकी सभी वार्डों में पुरुष कैंडिडेट हैं। किसी भी वार्ड के पुरुष कैंडिडेट की होर्डिंग बैनर या पोस्ट पर उसकी पत्नी की फोटो दिखाई नहीं दे रही। लेकिन पुरुषों ने अपने फोटो पत्नियों से भी बड़े लगवाए हैं। कई वॉर्ड के पुरुष उम्मीदवारों को नई वार्डबंदी के कारण महिला वॉर्ड से जनरल वॉर्ड में बदलने की उम्मीद थी लेकिन ऐसा न होने पर उन्होंने अपनी पत्नी-बेटी, बहू को औपचारिकताएं पूरी करने के लिए मैदान में उतार दिया।

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