धनबाद के स्टेशन रोड स्थित संत मेरी स्कूल में एक चौंकाने वाली घटना सामने आई है। चौथी कक्षा के एक छात्र को केवल 10 मिनट देरी से स्कूल पहुंचने पर शिक्षिकाओं ने अभद्र शब्द लिखने की सजा दी। बारिश के कारण देर से पहुंचे बच्चे को “मां और बहन” के लिए अपशब्द लिखने को कहा गया। जब बच्चे की कॉपी में 10 पेज भर अपशब्द देखे तो परिजन स्तब्ध रह गए। बच्चे की मां तुरंत स्कूल पहुंची, लेकिन तब तक स्कूल बंद हो चुका था और सभी शिक्षक जा चुके थे। स्कूल के गेट पर ही मां रोने लगी। उसे रोता देख बच्चा भी परेशान हो गया। प्रिंसिपल को फोन करके मामले की जानकारी दी गई आसपास के लोगों ने महिला को सांत्वना दी। प्रिंसिपल को फोन करके मामले की जानकारी दी गई। जब कोई कार्रवाई नहीं हुई तो महिला अपने बच्चे के साथ बाल संरक्षण पदाधिकारी के पास पहुंची और शिकायत दर्ज कराई। स्कूल प्रबंधन ने शिकायत मिलने के बाद तुरंत प्रबंध कमेटी की बैठक बुलाई। जांच में पता चला कि बच्चे आपस में गाली दे रहे थे, जिस पर शिक्षिकाओं ने उन्हें सजा के रूप में वही गालियां लिखने को कहा। प्रबंधन ने इस प्रकार की सजा को पूरी तरह गलत बताया। उनका कहना था कि बच्चों को सजा देने के अन्य तरीके अपनाए जा सकते थे। मामले की गंभीरता को देखते हुए इस प्रकरण में शामिल दो शिक्षिकाओं को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है।