हनुमानगढ़ के चक एक एसटीजी के किसान कान्हाराम ने नष्ट की गई माइनर नहर खुदवाने के लिए उपखंड अधिकारी की ओर से जारी किए गए आदेशों का पालन करवाने की मांग जिला प्रशासन से की है। कान्हाराम पुत्र लाधूराम कुम्हार निवासी ढाणी चक एक एसटीजी ने बताया कि उसकी चक 1 एसटीजी में कृषि भूमि है। उसकी कृषि भूमि में जिस माइनर नहर से पानी की सिंचाई होती थी। उसे बाबू सिंह पुत्र विचित्र सिंह ने नष्ट कर दिया है। कान्हाराम ने बताया कि माइनर नहर बनाए जाने के लिए उसके पक्ष में अधिशासी अभियंता जल संसाधन खण्ड द्वितीय हनुमानगढ़ की ओर से आदेश दिए गए, लेकिन बाबू सिंह की ओर से मौके पर माइनर नहर देने से मना कर दिया गया। तब उसने व्यथित होकर मौके पर माइनर नहर खुदवाने के लिए मजिस्ट्रेट नियुक्त करने के लिए उपखंड मजिस्ट्रेट के समक्ष प्रार्थना पत्र प्रस्तुत किया। इस पर 9 दिसम्बर को उपखंड मजिस्ट्रेट ने पत्र जारी कर तहसील राजस्व को आदेश दिए कि चक 1 एसटीजी में माइनर नहर खुदवाने की कार्रवाई के दौरान मौके पर उपस्थित रहकर मजिस्ट्रेट के दायित्व का निर्वहन करते हुए मौके पर कानून और शांति व्यवस्था कायम रखें, लेकिन उपखण्ड मजिस्ट्रेट के आदेश को एक सप्ताह का समय बीत चुका है। जब उन्होंने तहसीलदार से सम्पर्क किया तो तहसीलदार ने जयपुर में प्रधानमंत्री की रैली होने के कारण 4-5 दिन तक समय नहीं होने का हवाला देकर कुछ दिन बाद सम्पर्क करने को कहा। कान्हाराम ने कहा कि वह छोटा काश्तकार है। पूर्व में उसकी पानी की पांच बारी प्रभावित हो चुकी हैं। इसी प्रकार से अगर समय निकलता गया तो उसके खेत में किसी प्रकार की फसल नहीं होगी। इससे उसे नुकसान होगा। कान्हाराम के अनुसार उसके खेत में बनी पीने के पानी की टंकी भी खाली हो चुकी है। नजदीक कोई पानी का स्त्रोत नहीं होने के कारण उसके परिवार और पशुओं को भी पानी नहीं मिल रहा है। उन्होंने उपखण्ड अधिकारी से मांग की कि तहसीलदार की जगह किसी अन्य सक्षम अधिकारी को मजिस्ट्रेट नियुक्त कर पुलिस जाप्ता मांगकर माइनर नहर की खुदाई तुरंत प्रभाव से करवाई जाए।