भास्कर न्यूज | राजनांदगांव कृपालु महाराज की प्रमुख प्रचारिका धामेश्वरी देवी ने कहा शास्त्रों के अनुसार 84 लाख योनियों में मानव शरीर सर्वश्रेष्ठ है। भगवान ने मनुष्यों को ज्ञान और शक्ति दी, कर्म करने की शक्ति प्रदान की, जिससे ईश्वर रूपी अंश को जाना जा सकता है। अगर मनुष्य देह पाकर ईश्वर रूपी आनंद को प्राप्त नहीं किया तो मनुष्य शरीर छूटने पर 84 लाख लाख हीन योनियों में भटकना पड़ेगा। मनुष्य देह देव दुर्लभ होता है इसी मनुष्य देह को स्वर्ग के देवता भी चाहते है, कर्म करने का अधिकार केवल मनुष्य देह में ही संभव है। अन्य सभी योनियां भोग योनियां है। साथ ही यह मनुष्य देह क्षणभंगुर भी है। स्टेट हाई स्कूल मैदान में कृपालु महाराज की प्रमुख प्रचारिका धामेश्वरी देवी का 15 दिवसीय आध्यात्मिक प्रवचन 25 मार्च से 8 अप्रैल तक शाम 7 से 9 बजे तक किया जा रहा है। विश्व का प्रत्येक जीव आनंद चाहता है। वह आनंद कहां है कैसे मिलेगा इसी के लिए अनवरत प्रयासरत है। जीव ईश्वर का अंश है। प्रत्येक जीव ईश्वर का सनातन अंश होने के कारण अनादिकाल से आनंद की खोज में लगा है। वेद कहते हैं कि विश्व का प्रत्येक जीव आस्तिक है। नवजात शिशु है, वह जन्म लेते ही पहले रोता है। जन्म के समय जो कष्ट होता है उसे वह नहीं चाहता।