अलवर में वन मंत्री संजय शर्मा ने रविवार शाम को सरिस्का की टहला रेंज के घाटला ऑफिस का औचक निरीक्षण किया। यहां दो कर्मचारी दिन में ही चादर तानकर सोते मिले। मंत्री ने खुद जाकर दोनों को जगाया। पहले कर्मचारी ने जब चादर हटाकर देखा तो सामने मंत्री को देख घबरा गया। दूसरा कर्मचारी भी मंत्री को देख दंग रह गया। मंत्री ने पूरे कार्यालय का निरीक्षण किया। कचरा मिलने पर फटकार लगाई। संदूक की जांच की और मौके पर मिली लकड़ियों के बारे में पूछताछ की। गैस की जगह लकड़ी जलाने पर नाराजगी जताते हुए कहा, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का मैसेज पता नहीं है क्या? लकड़ी जलाकर प्रदूषण नहीं करना है। वन मंत्री का औचक निरीक्षण, कर्मचारियों से हुई यह बातचीत… मंत्री: (कमरे में प्रवेश करते हुए) “अरे भइया…” कर्मचारी 1: (चौंककर उठते हुए) “सर नमस्कार” मंत्री: “नमस्कार… (दूसरे कर्मचारी की ओर इशारा करते हुए) ये कौन है? रात को सोते नहीं हो क्या? कैसे सो रहे हो दिन में?” दूसरे कमरे में लकड़ियों को लेकर
मंत्री: “ये लकड़ियां कहां से आईं?” कर्मचारी: “सर, अवैध रूप से ले जाने वालों से जब्त की हैं” मंत्री: “क्या करते हो इनका?” कर्मचारी: (चूल्हे की तरफ देखते हुए) “जला लेते हैं सर” मंत्री: “क्यों? प्रधानमंत्री जी का कहना है प्रदूषण नहीं करना है। रसोई गैस जलाया करो” स्टोर रूम में
मंत्री: “ये कमरा किसके लिए है?” कर्मचारी: “सामान रखने के लिए सर” (मंत्री संदूक खोलकर जांच करते हैं) परिसर में..
मंत्री: (कचरा देखकर) “ये क्या हालत बना रखी है? कचरा बिखरा पड़ा है”